बाड़मेर में DSP पर हेड कांस्टेबल को थप्पड़ मारने का आरोप, बेनीवाल और हरीश चौधरी ने की जांच की मांग
राजस्थान के बाड़मेर जिले से एक गंभीर मामला सामने आया है। चौहटन थाना क्षेत्र में तैनात एक डीएसपी पर हेड कांस्टेबल को थप्पड़ मारने का आरोप लगाया गया है। पीड़ित का कहना है कि घटना के बावजूद वरिष्ठ अधिकारी मामले को दबाने की कोशिश कर रहे हैं।

बाड़मेर में डीएसपी पर हेड कांस्टेबल को थप्पड़ मारने का आरोप, बेनीवाल ने की निष्पक्ष जांच की अपील
राजस्थान के बाड़मेर जिले से एक गंभीर मामला सामने आया है। चौहटन थाना क्षेत्र में तैनात एक डीएसपी पर हेड कांस्टेबल को थप्पड़ मारने का आरोप लगाया गया है। पीड़ित का कहना है कि घटना के बावजूद वरिष्ठ अधिकारी मामले को दबाने की कोशिश कर रहे हैं।
यह घटना 11 सितंबर की रात की बताई जा रही है। हेड कांस्टेबल रामूराम मेघवाल ने आरोप लगाया कि डीएसपी जीवनलाल खत्री और उनके रीडर गोपीकिशन कटारिया जांच के लिए धनाऊ गए थे। लौटते समय डीएसपी ने गाड़ी में गाली-गलौच शुरू कर दी और विरोध करने पर गाड़ी रोककर थप्पड़ मार दिया।
"ऐसे माहौल में अब नौकरी नहीं कर सकता" – कांस्टेबल
कांस्टेबल ने कहा कि इस घटना के बाद वह खुद को असहाय महसूस कर रहा है। बाड़मेर एसपी से शिकायत के बावजूद उसे न्याय नहीं मिला। वह कहता है कि अधिकारी उसका साथ नहीं दे रहे हैं और इस वातावरण में वह अब नौकरी नहीं कर सकता।
डीएसपी ने लगाए आरोपों को गलत बताया
डीएसपी जीवनलाल खत्री ने आरोपों से इनकार करते हुए कहा कि कांस्टेबल लापरवाही से गाड़ी चला रहा था। उन्होंने गाड़ी रोककर दूसरी गाड़ी बुलवाई और उच्च अधिकारियों की मौजूदगी में मामला सुलझा लिया। उन्होंने यह भी कहा कि अब कुछ लोग उकसा कर कांस्टेबल से बेबुनियाद आरोप लगवा रहे हैं।
एसपी ने जांच एएसपी को सौंपी
बाड़मेर एसपी नरेंद्रसिंह मीना ने बताया कि डीएसपी और कांस्टेबल के बीच विवाद हुआ था। एएसपी जसाराम बोस को मौके पर भेजकर मामला शांत कराया गया था। पूरे घटनाक्रम की जांच एएसपी को सौंप दी गई है।
बेनीवाल और चौधरी ने की निष्पक्ष जांच की मांग
इस घटना को लेकर नागौर सांसद और RLP प्रमुख हनुमान बेनीवाल, बाड़मेर जैसलमेर सांसद उम्मेदाराम बेनीवाल और बायतु विधायक हरीश चौधरी ने निष्पक्ष जांच की मांग की। हनुमान बेनीवाल ने अपने “X” हैंडल पर ट्वीट कर राजस्थान पुलिस और मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा को टैग करते हुए लिखा कि "आजादी के कई दशक बाद भी मेघवाल समाज के व्यक्ति के साथ ऐसा व्यवहार होना न सिर्फ उस अधिकारी बल्कि भाजपा की दलित विरोधी मानसिकता को उजागर करता है।" वही सांसद उम्मेदाराम बेनीवाल ने अपने “X” हैंडल पर ट्वीट कर लिखा कि "अक पुलिस अधिकारी द्वारा अपने ही कार्यालय के कार्मिक के साथ पद का दुरुपयोग करते हुए ऐसा कुत्सित व्यवहार करना दलित विरोधी मानसिकता का प्रतीक है." इसी के साथ बायतु से विधायक हरीश चौधरी ने भी अपने “X” हैंडल पर ट्वीट कर लिखा कि "यदि अक पुलिस कांस्टेबल जो खुद जनता की सुरक्षा का दायित्व निभाता है. सुरक्षित और सम्मानित नहीं है, तो साधारण नागरिक की स्थिति का अंदाजा लगाना मुश्किल नहीं हैं. यह प्रकरण सरकार और प्रशासन की संवेदनशीलता पर प्रश्नचिन्ह खड़ा करता है.